EWS कोटे प्रवेश में यदि कोई अनियमितता मिले तो बच्चों के अभिभावक सीधे कर सकते हैं शिकायत — आशीष सूद

Date:

नई दिल्ली । 10 मार्च 25 ।  EWS कोटे के तहत प्राइवेट स्कूलों में दाखिले के लिए दस्तावेजों के सत्यापन की प्रक्रिया जारी। शिक्षा निदेशालय द्वारा 10 मार्च तक ‘ड्रॉ ऑफ लॉट्स’ में नाम आए 7042 बच्चे दस्तावेजों के सत्यापन के लिए पहुंचे। जिनमें से 6192 बच्चों के दस्तावेजों का सत्यापन किया गया। 4878 बच्चों के दाखिले के लिए सीटें आवंटित की गई निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से हो रहा है दस्तावेजों का सत्यापन।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन और दिल्ली की मुख्यमंत्री श्रीमती रेखा गुप्ता जी के नेतृत्व में दिल्ली सरकार मिशन मोड में काम कर रही है। इसी क्रम में दिल्ली के उच्च शिक्षा, प्रशिक्षण एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री आशीष सूद प्राइवेट स्कूलों में शैक्षिक सत्र 2025-26 के लिए आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) एवं वंचित वर्ग (DG) कोटे के तहत होने वाले एडमिशन के लिए पांच मार्च के हुए ‘ड्रॉ ऑफ लॉट्स’ के बाद इस कोटे के तहत होने वाली प्रवेश प्रक्रिया पर पूरी तरह से नजर रखे हुए हैं।
दिल्ली के शिक्षा मंत्री आशीष सूद ने कहा कि नर्सरी, केजी और पहली कक्षा में प्रवेश के लिए आए दो लाख से ज्यादा आवेदन में से ‘ड्रॉ ऑफ लॉट्स’ में कुल 44 हजार 45 बच्चों के नाम कंप्यूटराइज्ड लॉटरी में सामने आए थे। उनका EWS कोटे के तहत प्राइवेट स्कूलों में एडमिशन के लिए बीते 6 मार्च से डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन की प्रक्रिया जारी है।
दिल्ली के शिक्षा मंत्री आशीष सूद जी ने बताया कि अगर किसी भी बच्चे के माता-पिता को दस्तावेजों के हो रहे सत्यापन में गड़बड़ी या पारदर्शिता को लेकर किसी भी तरह की कोई भी परेशानी सामने आए या फिर शिकायत हो तो ऐसे लोग सीधे शिक्षा मंत्री से संपंर्क कर सकते हैं। या शिक्षा मंत्री के दफ्तर में जाकर भी अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते हैं। शिक्षा मंत्री ने आगे बताया कि अगर कोई आपसे दिल्ली के प्राइवेट स्कूलों में EWS कोटे के तहत दाखिला करवाने के नाम पर कोई भी व्यक्ति आपसे रुपए-पैसे की मांग कर रहा हो। तो भी आप सीधे शिक्षा मंत्री या फिर उनके कार्यालय में जाकर अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते हैं।
शिक्षा मंत्री श्री आशीष सूद ने बताया कि ‘ड्रॉ ऑफ लॉट्स’ में नाम आए कुल 44 हजार 45 बच्चों के नाम शिक्षा निदेशालय की वेबसाइट पर अपलोड होने के बाद से बड़ी संख्या में बच्चों के माता-पिता डॉक्यूमेंट लेकर वेरिफिकेशन के लिए पहुंच रहे हैं। जिनका मौके पर ही वेरिफिकेशन कर स्कूलों में सीटों का आवंटन किया जा रहा है।
6 मार्च को दिल्ली शिक्षा निदेशालय के 29 जोनल कार्यालय में कुल 1193 बच्चों के माता-पिता अपने बच्चों के जरूरी दस्तावेज लेकर सत्यापन कराने के लिए पहुंचे थे। जिनमें से कुल 1096 बच्चों के दस्तावेजों के सत्यापन किए गए। कागजात की जांच के बाद कुल 834 बच्चों को दाखिले के लिए सीट आवंटित कर दी गई। जबकि जिन 260 बच्चों के दस्तावेजों में कमी पाई गई। उनको जरूरी कागजात जमा करवाने के लिए नोटिस जारी किया गया है। लॉटरी में नाम आने के बावजूद शिक्षा निदेशालय के जोनल कार्यालय 14 और 23 में दाखिले के लिए जरूरी दस्तावेजों में अनियमितता मिलने पर दो बच्चों की उम्मीदवारी रद्द भी की गई है।
उन्होंने यह भी बताया कि 7 मार्च को दिल्ली शिक्षा निदेशालय के 29 जोनल कार्यालय में कुल 2431बच्चों के माता-पिता अपने बच्चों के जरूरी दस्तावेज लेकर सत्यापन के लिए पहुंचे थे। जिनमें से कुल 2108 बच्चों के दस्तावेजों के सत्यापन किया गया। सभी कागजात की जांच के बाद कुल 1698 बच्चों को दाखिले के लिए सीटें आवंटित कर दी गई है। जबकि लॉटरी में नाम आने के बावजूद जरूरी दस्तावेज पूरे नहीं होने से 410 बच्चों को पूरे कागजात जमा कराने के लिए नोटिस जारी किया गया है।
जबकि 8 मार्च को दिल्ली शिक्षा निदेशालय के सिर्फ तीन जोनल कार्यालय जोन 7 में कुल 52, जोन 14 में दो और जोन 22 में 10 बच्चों के यानी कुल 64 छात्रों के अभिभावकजरूरी दस्तावेज लेकर डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन कराने पहुंचे। 64 बच्चों के दस्तावेजों के सत्यापन के बाद 43 बच्चों को दाखिले के लिए सीटें आवंटित कर दी गई है। जबकि लॉटरी में नाम आने के बावजूद जरूरी दस्तावेज पूरे नहीं होने से 21 बच्चों को पूरे कागजात जमा कराने के लिए नोटिस जारी किया गया है।
जबकि 10 मार्च को दिल्ली शिक्षा निदेशालय के 29 जोनल कार्यालय में 3354 बच्चों के अभिभावक जरूरी दस्तावेज लेकर डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन कराने पहुंचे। 2924 बच्चों के दस्तावेजों के सत्यापन के बाद 2303 बच्चों को दाखिले के लिए सीटें आवंटित कर दी गई है। जबकि लॉटरी में नाम आने के बावजूद जरूरी दस्तावेज पूरे नहीं होने से 600 बच्चों को पूरे कागजात जमा कराने के लिए नोटिस जारी किया गया है।
6 मार्च से लेकर 10 मार्च तक चार दिनों में ही दिल्ली शिक्षा निदेशालय के कुल 29 जोनल ऑफिस में ड्रॉ में नाम आए कुल 44045 बच्चों में से अबतक 7042 बच्चों के माता-पिता दस्तावेजों का सत्यापन कराने के लिए पहुंचे हैं। जिनमें से 6192 बच्चों के डॉक्यूमेंट की जांच का काम पूरा भी हो चुका है। जिसके बाद अबतक कुल 4878 बच्चों को दिल्ली के प्राइवेट स्कूलों में दाखिले के लिए सीटें आवंटित की जा चुकी हैं। जबकि अबतक 1291 उम्मीदवारों को जरूरी दस्तावेज नहीं होने और अनियमितता मिलने पर नोटिस जारी कर फिर से वेरिफिकेशन करवाने के लिए समय दिया गया है। लॉटरी में नाम आने के बावजूद त्वरित और पारदर्शी तरीके से हो रही दस्तावेजों की जांच में अनियमितता मिलने पर अबतक चार उम्मीदवारों की उम्मीदवारी खारिज की गई है।
‘ड्रॉ ऑफ लॉट्स’ के बाद शिक्षा मंत्री आशीष सूद ने यह भी कहा है कि हमारी सरकार का उद्देश्य है कि राजधानी दिल्ली के हर गरीब और जरूरतमंद बच्चे को शिक्षा का अधिकार मिले। इसके लिए मुख्यमंत्री श्रीमती रेखा गुप्ता की सरकार पूरी तरह प्रतिबद्ध है। हमारी सरकार बिना किसी भेदभाव के योग्य और समाज के वंचित वर्ग के बच्चों को भी समान शिक्षा का अवसर देकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के सपने को साकार करने के लिए तत्परता से काम कर रही है। जिसके बहुत जल्द सकारात्मक परिणाम दिखाई देंगे।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Share post:

Subscribe

Popular

More like this
Related

दिल्ली को स्वच्छ और प्रदूषण मुक्त बनाना सरकार की प्राथमिकता -सीएम रेखा गुप्ता

 गुप्ता वायु प्रदूषण नियंत्रण के लिए पूरी रिंग रोड...

दिल्ली सरकार का बुनियादी ढांचे पर ज़ोर: प्रवेश वर्मा

रोहतक रोड परियोजना में गुणवत्ता से समझौता न करने...